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MA political science notes in hindi pdf

MA political science notes in hindi pdf

M A political science notes in hindi pdf

MA political science notes in hindi pdf : राजनीतिक विज्ञान (Political Science) एक ऐसा विषय है, जो राजनीतिक प्रणालियों, सरकारों के व्यवहार, सार्वजनिक नीतियों, और राजनीतिक विचारधाराओं के सिद्धांतों का अध्ययन करता है। एम.ए. पॉलिटिकल साइंस करने वाले छात्रों के लिए यह यात्रा चुनौतीपूर्ण होती है, क्योंकि इसे गहराई से समझने के लिए विभिन्न राजनीतिक घटनाओं का विश्लेषण आवश्यक होता है।

आज के डिजिटल युग में, पढ़ाई और नोट्स बनाने के पारंपरिक तरीके काफी बदल गए हैं। इसमें सबसे महत्वपूर्ण विकास है पीडीएफ (PDF) फॉर्मेट में नोट्स की उपलब्धता। अब छात्रों के पास अपनी पढ़ाई को आसान बनाने के लिए ढेरों रिसोर्सेज़ हैं। यह ब्लॉग पोस्ट आपको एम.ए. पॉलिटिकल साइंस के लिए पीडीएफ नोट्स ढूंढने, इस्तेमाल करने, और व्यवस्थित करने के तरीकों पर गाइड करेगी।

पीडीएफ फॉर्मेट में एम.ए. पॉलिटिकल साइंस नोट्स क्यों जरूरी हैं?

  1. सुविधा और एक्सेसिबिलिटी: पीडीएफ नोट्स को आप किसी भी डिवाइस पर एक्सेस कर सकते हैं जैसे कि लैपटॉप, टैबलेट, या स्मार्टफोन। इससे आप कभी भी, कहीं भी पढ़ाई कर सकते हैं। चाहे आप यात्रा कर रहे हों या किसी शांत जगह पर अध्ययन कर रहे हों, पीडीएफ फॉर्मेट में नोट्स होने से आप अपनी पढ़ाई बिना रुकावट के जारी रख सकते हैं।
  2. सर्चबिलिटी: पीडीएफ फाइल्स में सर्च करने की सुविधा होती है। यह हाथ से लिखे नोट्स के मुकाबले ज्यादा आसान होता है। आप किसी भी शब्द या टॉपिक को तुरंत ढूंढ सकते हैं, जो रिविजन के दौरान काफी समय बचा सकता है।
  3. आयोजन में आसानी: पीडीएफ नोट्स को आप आसानी से व्यवस्थित कर सकते हैं। आप उन्हें विषय, टॉपिक, या सेमेस्टर के हिसाब से कैटेगराइज़ कर सकते हैं। इससे आपकी सभी स्टडी मटीरियल्स सही तरीके से संगठित रहती हैं, और जरूरत पड़ने पर उन्हें ढूंढना आसान हो जाता है।
  4. सस्टेनेबिलिटी: डिजिटल नोट्स का उपयोग करने से कागज की खपत कम होती है, जो पर्यावरण के लिए बेहतर है। इससे प्राकृतिक संसाधनों की बचत होती है और वेस्ट भी कम होता है।

एम.ए. पॉलिटिकल साइंस के प्रमुख क्षेत्र

पीडीएफ फॉर्मेट में पॉलिटिकल साइंस के नोट्स का सही से उपयोग करने के लिए यह समझना जरूरी है कि एम.ए. पॉलिटिकल साइंस के कोर्स में कौन-कौन से मुख्य टॉपिक्स कवर किए जाते हैं। हालांकि पाठ्यक्रम विश्वविद्यालय के अनुसार थोड़ा भिन्न हो सकता है, लेकिन निम्नलिखित टॉपिक्स आमतौर पर शामिल होते हैं:

  1. राजनीतिक सिद्धांत (Political Theory):
    राजनीतिक सिद्धांत में उन विचारों और दार्शनिकों का अध्ययन किया जाता है जिन्होंने सदियों से राजनीतिक सोच को आकार दिया है। इसमें प्लेटो, अरस्तू जैसे शास्त्रीय विचारकों से लेकर मार्क्स, रॉल्स और फूको जैसे आधुनिक सिद्धांतकारों तक के राजनीतिक विचारों का गहन अध्ययन किया जाता है।
  2. तुलनात्मक राजनीति (Comparative Politics):
    तुलनात्मक राजनीति के अंतर्गत विभिन्न देशों की राजनीतिक प्रणालियों की तुलना की जाती है। इसमें विभिन्न देशों के राजनीतिक ढांचे, प्रक्रियाओं, और परिणामों का अध्ययन शामिल है। प्रमुख विषयों में चुनावी प्रणाली, पार्टी सिस्टम, संघवाद, और तानाशाही शामिल हैं।
  3. अंतर्राष्ट्रीय संबंध (International Relations):
    अंतर्राष्ट्रीय संबंध देशों के बीच होने वाली इंटरैक्शन और ग्लोबल पॉलिटिक्स को प्रभावित करने वाले कारकों का अध्ययन करता है। प्रमुख विषयों में अंतर्राष्ट्रीय संबंधों के सिद्धांत, कूटनीति, अंतर्राष्ट्रीय संगठन, वैश्विक सुरक्षा और विदेश नीति शामिल हैं।
  4. सार्वजनिक प्रशासन (Public Administration):
    सार्वजनिक प्रशासन में सरकारी नीतियों के कार्यान्वयन और इस कार्यान्वयन का अध्ययन शामिल है। इसमें सरकारी नीतियों और कार्यक्रमों का संगठन और अधिकारियों का व्यवहार शामिल होता है, जो इनका संचालन करते हैं।
  5. राजनीतिक अर्थव्यवस्था (Political Economy):
    राजनीतिक अर्थव्यवस्था राजनीति और अर्थशास्त्र के बीच संबंधों का अध्ययन करती है। यह इस बात पर ध्यान देती है कि राजनीतिक संस्थान, राजनीतिक वातावरण और आर्थिक प्रणाली एक-दूसरे को कैसे प्रभावित करते हैं। प्रमुख विषयों में पूंजीवाद, समाजवाद, वैश्वीकरण और आर्थिक नीतियां शामिल हैं।
  6. अनुसंधान पद्धति (Research Methodology):
    अनुसंधान पद्धति छात्रों को राजनीतिक विज्ञान अनुसंधान के लिए आवश्यक उपकरण प्रदान करती है। इसमें गुणात्मक और मात्रात्मक दोनों तरीकों के साथ-साथ विभिन्न अनुसंधान डिज़ाइन, डेटा संग्रहण तकनीक, और डेटा विश्लेषण विधियां शामिल हैं।
  7. भारतीय राजनीतिक प्रणाली (Indian Political System):
    भारत की अनूठी राजनीतिक संरचना को ध्यान में रखते हुए, यह क्षेत्र भारतीय राजनीतिक प्रणाली की संरचना, प्रक्रियाओं और मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करता है। प्रमुख विषयों में भारतीय संविधान, संघवाद, चुनावी राजनीति, और भारत में सार्वजनिक नीति शामिल हैं।

एम.ए. पॉलिटिकल साइंस नोट्स पीडीएफ फॉर्मेट में कहां से प्राप्त करें

उच्च गुणवत्ता वाले पीडीएफ नोट्स प्राप्त करना चुनौतीपूर्ण हो सकता है, खासकर जब ऑनलाइन बहुत सारे रिसोर्सेज उपलब्ध हों। यहाँ कुछ विश्वसनीय स्रोत दिए गए हैं, जहाँ से आप एम.ए. पॉलिटिकल साइंस के नोट्स प्राप्त कर सकते हैं:

  1. यूनिवर्सिटी वेबसाइट्स:
    कई विश्वविद्यालय अपने छात्रों के लिए लेक्चर नोट्स, रीडिंग मटीरियल और पिछले परीक्षा पत्र पीडीएफ फॉर्मेट में प्रदान करते हैं। अपनी यूनिवर्सिटी की आधिकारिक वेबसाइट या स्टूडेंट पोर्टल को चेक करना एक अच्छा प्रारंभिक बिंदु हो सकता है।
  2. ऑनलाइन शैक्षिक प्लेटफ़ॉर्म्स:
    कोर्सेरा, edX, और स्वयम जैसी वेबसाइट्स पर पॉलिटिकल साइंस के मुफ्त और पेड कोर्सेज़ मिलते हैं, जिनमें पीडीएफ फॉर्मेट में डाउनलोड करने योग्य नोट्स भी होते हैं। ये प्लेटफ़ॉर्म्स प्रसिद्ध संस्थानों और विशेषज्ञों से सामग्री प्रदान करते हैं।
  3. स्टूडेंट कम्युनिटी और फोरम्स:
    Reddit, Quora, और विशेष रूप से छात्र फोरम्स पर अक्सर थ्रेड्स होते हैं, जहाँ छात्र अपने नोट्स और अध्ययन सामग्री साझा करते हैं। इन समुदायों में शामिल होना आपको किसी विशिष्ट विषय या विषय पर पीडीएफ प्राप्त करने में मदद कर सकता है।
  4. लाइब्रेरी डेटाबेस:
    कई शैक्षिक लाइब्रेरियों के पास ऑनलाइन डेटाबेस होते हैं, जहाँ छात्र ई-बुक्स, जर्नल आर्टिकल्स, और अन्य संसाधनों तक पीडीएफ फॉर्मेट में पहुंच सकते हैं। JSTOR, Google Scholar, और Project MUSE लोकप्रिय डेटाबेस हैं जिनका उपयोग पॉलिटिकल साइंस के छात्र अक्सर करते हैं।
  5. शैक्षिक ब्लॉग्स और वेबसाइट्स:
    कई शैक्षिक ब्लॉग्स और वेबसाइट्स विशेष रूप से पॉलिटिकल साइंस के छात्रों के लिए सामग्री प्रदान करते हैं। ये प्लेटफ़ॉर्म्स मुफ्त डाउनलोड करने योग्य नोट्स, सारांश, और अध्ययन गाइड्स पीडीएफ फॉर्मेट में उपलब्ध कराते हैं। उदाहरण के लिए PoliticalScienceNotes.com और Studocu।
  6. सोशल मीडिया ग्रुप्स:
    पॉलिटिकल साइंस से संबंधित Facebook ग्रुप्स, WhatsApp स्टडी ग्रुप्स, या Telegram चैनल्स से जुड़ने से भी आपको पीडीएफ नोट्स मिल सकते हैं। ये ग्रुप्स अक्सर अध्ययन सामग्री, नोट्स और अन्य संसाधनों को साझा करते हैं।

अपने एम.ए. पॉलिटिकल साइंस पीडीएफ नोट्स को व्यवस्थित कैसे करें

अधिक मात्रा में पीडीएफ नोट्स का संग्रह तब तक उपयोगी नहीं होता जब तक आप उन्हें आसानी से एक्सेस और नेविगेट नहीं कर सकते। यहाँ कुछ तरीके दिए गए हैं जिनसे आप अपने नोट्स को प्रभावी ढंग से व्यवस्थित कर सकते हैं:

  1. विषय के अनुसार श्रेणीबद्ध करें:
    प्रत्येक विषय या कोर्स के लिए फोल्डर्स बनाएं। उदाहरण के लिए, आप पॉलिटिकल थ्योरी, तुलनात्मक राजनीति, अंतर्राष्ट्रीय संबंध, आदि के लिए अलग-अलग फोल्डर्स बना सकते हैं।
  2. डिस्क्रिप्टिव फाइल नेम्स का उपयोग करें:
    जब आप अपनी पीडीएफ फाइल्स सेव करते हैं, तो डिस्क्रिप्टिव फाइल नेम्स का उपयोग करें जो आपको सामग्री को पहचानने में मदद करें। उदाहरण के लिए, “Lecture1.pdf” के बजाय “Political_Theory_Plato_Republic.pdf” का उपयोग करें।
  3. मास्टर इंडेक्स बनाएं:
    यदि आपके पास बहुत सारी पीडीएफ फाइल्स हैं, तो एक मास्टर इंडेक्स बनाने पर विचार करें। इसमें फाइल नेम्स के साथ उनकी सामग्री का संक्षिप्त विवरण और आपके डिवाइस पर उनकी लोकेशन शामिल करें।
  4. एनोटेशन टूल्स का उपयोग करें:
    कई पीडीएफ रीडर्स आपको टेक्स्ट को हाइलाइट करने, कमेंट्स जोड़ने, या पेजेस को बुकमार्क करने की सुविधा देते हैं। इन टूल्स का उपयोग अपने नोट्स में महत्वपूर्ण बिंदुओं को चिह्नित करने के लिए करें, जिससे रिवीजन के दौरान उन्हें दोबारा देखना आसान हो जाता है।
  5. रेगुलरली बैक-अप करें:
    हमेशा अपने नोट्स को Google Drive, Dropbox जैसे क्लाउड स्टोरेज प्लेटफ़ॉर्म्स पर बैकअप करें। इससे यह सुनिश्चित होता है कि आपके डिवाइस जैसे लैपटॉप, टैबलेट, या स्मार्टफोन। इसका मतलब है कि आप कहीं भी और कभी भी अपने नोट्स का अध्ययन कर सकते हैं। चाहे आप यात्रा कर रहे हों या किसी शांत जगह पर पढ़ाई कर रहे हों, पीडीएफ फॉर्मेट में नोट्स होना आपको किसी भी समय सीखने का मौका देता है।
  6. सर्चेबिलिटी:
    पीडीएफ नोट्स का एक बड़ा फायदा यह है कि आप इनमें आसानी से सर्च कर सकते हैं। जहाँ हाथ से लिखे नोट्स में आपको पन्ने पलटने पड़ते हैं, वहीं पीडीएफ में आप किसी भी शब्द या टॉपिक को तुरंत ढूंढ सकते हैं। यह विशेष रूप से रिवीजन या परीक्षा की तैयारी के दौरान बहुत समय बचाता है।
  7. आयोजन में आसानी:
    पीडीएफ नोट्स को आप आसानी से व्यवस्थित कर सकते हैं। आप इन्हें टॉपिक, सब्जेक्ट या सेमेस्टर के अनुसार फोल्डर में बाँट सकते हैं। इससे आपकी सभी सामग्री एक सुव्यवस्थित तरीके से व्यवस्थित रहती है और आप जब चाहें, इसे तुरंत एक्सेस कर सकते हैं। इसके अलावा, आप एक डिजिटल लाइब्रेरी भी बना सकते हैं जिसे आप किसी भी समय उपयोग कर सकते हैं।
  8. सस्टेनेबिलिटी:
    प्रिंटेड नोट्स की जगह डिजिटल नोट्स का इस्तेमाल एक पर्यावरण-अनुकूल विकल्प है। इससे कागज का उपयोग कम होता है, जिससे प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण होता है और अपशिष्ट में भी कमी आती है

एम.ए. पॉलिटिकल साइंस में मुख्य क्षेत्र

  1. पीडीएफ फॉर्मेट में पॉलिटिकल साइंस नोट्स का प्रभावी ढंग से उपयोग करने के लिए, यह समझना जरूरी है कि एम.ए. पॉलिटिकल साइंस के पाठ्यक्रम में कौन-कौन से मुख्य विषय शामिल हैं। हालांकि विश्वविद्यालय के अनुसार पाठ्यक्रम में थोड़ा अंतर हो सकता है, लेकिन सामान्य रूप से निम्नलिखित टॉपिक्स कवर किए जाते हैं:
  2. पॉलिटिकल थ्योरी:
    पॉलिटिकल थ्योरी में उन विचारों और दर्शन का अध्ययन किया जाता है, जिन्होंने राजनीतिक सोच को सदियों से आकार दिया है। इसमें प्लेटो और अरस्तू जैसे क्लासिकल थिंकर्स से लेकर मार्क्स, रॉल्स और फूको जैसे आधुनिक विचारकों के राजनीतिक विचार शामिल होते हैं। इस क्षेत्र में न्याय, स्वतंत्रता, लोकतंत्र, और शक्ति जैसे राजनीतिक अवधारणाओं की गहरी समझ आवश्यक है।
  3. कंपेरेटिव पॉलिटिक्स:
    कंपेरेटिव पॉलिटिक्स विभिन्न देशों की राजनीतिक प्रणालियों की तुलना पर ध्यान केंद्रित करता है। इसमें राजनीतिक संरचनाओं, प्रक्रियाओं और परिणामों का अध्ययन किया जाता है ताकि पैटर्न और अंतर को पहचाना जा सके। इस क्षेत्र में चुनावी प्रणालियाँ, पार्टी प्रणालियाँ, संघवाद, और अधिनायकवाद (Authoritarianism) जैसे विषय शामिल होते हैं।
  4. इंटरनेशनल रिलेशंस:
    इंटरनेशनल रिलेशंस वह क्षेत्र है जिसमें राष्ट्रों के बीच की बातचीत और वैश्विक राजनीति को प्रभावित करने वाले कारकों का अध्ययन किया जाता है। इसके मुख्य टॉपिक्स में अंतरराष्ट्रीय संबंधों के सिद्धांत, कूटनीति (Diplomacy), अंतरराष्ट्रीय संगठनों, वैश्विक सुरक्षा, और विदेश नीति शामिल हैं।
  5. पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन:
    पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन सरकार की नीतियों को लागू करने और इस प्रक्रिया के अध्ययन पर केंद्रित है। यह सरकारी नीतियों और कार्यक्रमों के संगठन और उन्हें संचालित करने वाले अधिकारियों के व्यवहार का अध्ययन करता है।
  6. पॉलिटिकल इकॉनमी:
    पॉलिटिकल इकॉनमी राजनीति और अर्थशास्त्र के बीच संबंध का अध्ययन करता है। यह अध्ययन करता है कि कैसे राजनीतिक संस्थाएँ, राजनीतिक वातावरण, और आर्थिक प्रणाली एक-दूसरे को प्रभावित करते हैं। इस क्षेत्र के मुख्य विषयों में पूंजीवाद (Capitalism), समाजवाद (Socialism), वैश्वीकरण (Globalization), और आर्थिक नीतियाँ शामिल हैं।
  7. रिसर्च मेथडोलॉजी:
    रिसर्च मेथडोलॉजी छात्रों को राजनीतिक विज्ञान अनुसंधान के लिए आवश्यक उपकरणों से लैस करता है। इसमें गुणात्मक (Qualitative) और मात्रात्मक (Quantitative) दोनों विधियाँ शामिल होती हैं, साथ ही विभिन्न अनुसंधान डिजाइन, डेटा संग्रह तकनीक, और डेटा विश्लेषण के तरीके भी शामिल होते हैं।
  8. भारतीय राजनीतिक प्रणाली:
    भारत की अनूठी राजनीतिक संरचना को देखते हुए, इस क्षेत्र में भारतीय राजनीतिक प्रणाली की संरचना, प्रक्रियाओं, और मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया जाता है। मुख्य टॉपिक्स में भारतीय संविधान, संघवाद (Federalism), चुनावी राजनीति, और भारत में सार्वजनिक नीति शामिल हैं।

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